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हमारा प्रेम आज भी राम-लक्ष्मण की तरह जीवंत है

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चंद्रप्रभजी महाराज का जन्मदिवस मनाया    पुना - भारत गौरव, महान चिंतक राष्ट्र-संत पूज्य श्री चंद्रप्रभजी महाराज का 57 वां जन्मदिवस देश भर से पधारे गुरुभक्तों के बीच  जैन दादावाड़ी में धूमधाम से आयोजित किया गया। इस अवसर पर हजारों श्रद्धालुओं ने प्रभुभक्ति, गुरुभक्ति और साधर्मी भक्ति कर एक-दूसरे को जन्मोत्सव की बधाइयाँ बांटी।  विशाल जनमेदनी को संबोधित करते हुए महोपाध्याय श्री ललितप्रभसागर जी म.सा.ने कहा कि मैंने राम को तो नहीं देखा, पर श्री चन्द्रप्रभजी के रूप में मुझे राम मिल गए हैं.आज हम दोनों भाइयों को संन्यास लिए हुए 40 साल हो गए हैं और हमारा प्यार आज भी राम-लक्ष्मण की तरह जीवंत है.सच तो यह है कि हमारे शरीर भले ही दो है, पर भीतर में प्राण एक ही है.  ललितप्रभ जी ने कहा कि हमें या तो 100 किताबें लिखकर जानी चाहिए ताकि हमारे जाने के बाद भी दुनिया किताबों को पढ़कर हमें याद कर सके या फिर ऐसा जीवन जीकर जाना चाहिए कि हम पर 100 किताबें लिखी जा सके.मुझे गर्व है कि चन्द्रप्रभजी ने  न केवल 300 से उपर किताबें लिखी हैं, बल्कि ऐसा जीवन भी जिया है कि उन पर कई किताबें लिखी जा सकती है.उनकी

मानव सेवा ही सच्ची सेवा

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गुरु प्रेम मीशन में बोले पाटोदिया   भायंदर -मानव सेवा ही सच्ची सेवा हैं. इसे समझना बहुत जरूरी हैं. जिस समाज ने हमे दिया उसे वापस देने का प्रयास हर इंसान को करना चाहिए.  व्यक्ति दुनिया से जब जाता हैं तो अपने अच्छे कर्म को ही साथ ले जाता हैं. भूके को भोजन और प्यासे को पानी सेवा के बड़े काम हैं. आज मेडिकल इलाज आम आदमी के लिए बहुत महंगा हो गया हैं ऐसे में चिकित्सा सेवा बहुत बड़ी सेवा हैं. उपरोक्त विचार लायन डिस्ट्रिक्ट 3231-A3 के  डिस्ट्रिक्ट गवर्नर लायन सीए सुनील पाटोदिया ने व्यक्त किये.    पाटोदिया परम पूज्य तपगच्छाधिपति आचार्य श्री विजय प्रेमसूरीस्वरजी म.सा.के आजीवन चरणोपासक  परम पूज्य आचार्य श्री कुलचंद्रसूरीस्वरजी  (के.सी ) म.सा.के 50 वें जन्मदिन के उपलक्ष में आयोजित मेडिकल कैंप में बोल रहे थे. भायंदर (वेस्ट) के अवर लेडी ऑफ़ वैलंकनी हाईस्कूल में गुरु प्रेम मिशन आयोजित शिविर की मुख्य अतिथि पूर्व महापौर व नगरसेविका गीता भरत जैन थी. उन्होंने के.सी. म.सा. की प्रेरणा से हो रहे सामाजिक कार्यों की प्रशंसा की. कार्यक्रम में हिंदुजा हॉस्पिटल के डॉक्टरों ने सेवाएं दी.  कार्डियोलॉजिस्ट,इएनटी

शिक्षा और स्वच्छता के प्रति जागरूकता लाएगा सॉल

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सूरज  नंदोला नये अध्यक्ष   भायंदर- अनेक सामाजिक उपक्रमों  साथ साथ शिक्षा और स्वच्छता व बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ के प्रति जागरूकता  अलावा बीच रास्ते या कहीं पर भी थुकनेवालों को थूक से होनेवाली बिमारियों के  लोगों को अवगत कराएगा सोशल आर्गेनाईजेशन अपॉन लाइफ (सॉल). उपरोक्त विचार संस्था के नवनिर्वाचित अध्यक्ष सूरज नंदोला  व्यक्त किये.  भायंदर (वेस्ट)में आयोजित अपने शपथविधि समारोह में बोल रहे थे. नंदोला  कहा की उनका प्रयास रहेगा की टैक्स भरने के प्रति लोगों व में फैली गलतफमियों को दूर करने के अलावा सरकारी योजनाओं को पिछड़े वर्ग तक पहुंचाने का प्रयत्न करेंगे. उन्होंने बताया की संस्था 12 मई को भायंदर (वेस्ट) स्थित अवर लेड़ी ऑफ़ वैलंकनी हाइस्कूल में गुरु प्रेम मिशन  द्वारा परम पूज्य आचार्य कुलचंद्रसूरीस्वरजी (के.सी.)म.सा.के 50वें जन्मदिन पर आयोजित मेडिकल कैंप में हिस्सा लेगा.इस शिविर में लायन डिस्ट्रिक्ट 3231-A३,युथ फोरम,भारत विकास परिषद,अग्रवाल युथ ब्रिगेड आदि संस्थाए भी हिस्सा ले रही हैं. 3 जून को रियायती दर पर नोटबुक का वितरण किया जायेगा.सॉल के ट्रस्टी राधेश सिंघानिया ने संस्था  स्थापना का उ

आदिवासियों को समाज की मुख्य धारा से जोड़े

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लायंस क्लब इंटरनेशनल का मल्टीपल कन्वेंशन संपन्न  मुंबई- लायंस क्लब इंटरनेशनल का मल्टीपल डिस्ट्रिक्ट 3231का पहला कन्वेंशन हाल ही में संपन्न हुआ. इसकी मेजबानी डिस्ट्रिक्ट 3231-A3 ने की. नए मल्टीपल  गठन के  बाद यह पहला कन्वेशन था. दो दिवसीय कन्वेंशन का उद्घाटन पूर्व अंतर्राष्ट्रीय अध्यक्ष लायन अशोक मेहता ने किया. मुख्य अतिथि राज्यसभा सदस्य व कलिंगा विश्व विद्यालय के संस्थापक अच्युत सामंत थे. लायन एंड. सुभाष भलवाल के अध्यक्ष्ता  हुए कार्यक्रम में बोलते हुए संसद सदस्य सामंत ने कहा की सोशल इनोवेशन के माध्यम से जीवन परिवर्तन के बारे में बात करने पर मुझे बहुत खुशी हो रही है. उन्होंने कहा कि हमारी दुनिया धन, शक्तिशाली और अमीर व्यक्तियों के बीच युद्ध से भरी हैं पर  एक परंपरा जो "सबसे अच्छा जीवन रक्षा" के सिद्धांत का पालन करती है। लायन सुनील पाटोदिया के नेतृत्व में पालघर जिला में आदिवासी बच्चों के लिए स्कूल बनाये जाने के निर्णय  उन्होंने प्रशंसा की.उन्होंने कहा  वे इस कार्य में पूरा मार्गदर्शन देंगे. पाटोदिया ने कहा की सामंत धन अर्जित करके नाम कमा सकते थे लेकिन उन्होंने शिक्षा देन